Main To Kab Se Teri
अअअअअ आआआ आआ आआ आआ आआ
मैं तो कब से तेरी शरण में हूँ
मैं तो कब से तेरी शरण में हूँ
मैं तो कब से तेरी शरण में हूँ
मेरी ओअर तू भी तो ध्यान दे
मेरी ओअर तू भी तो ध्यान दे
मैं तो कब से तेरी
मेरी ओअर तू भी तो ध्यान दे
शरण में हूँ
मेरे मन में क्यूँ अंधकार है
मेरे मन में क्यूँ अंधकार है
मेरे ईश्वर मुझे ज्ञान दे
मेरे मन में क्यूँ अंधकार है
मेरे ईश्वर मुझे ज्ञान दे
मैं तो कब से तेरी शरण में हूँ
तेरी आरती का दीया बनूँ
तेरी आरती का दीया बनूँ
यही है मेरी मनो-कामना
तेरी आरती का दीया बनूँ
यही है मेरी मनो-कामना
मेरे प्राण तेरा ही नाम ले
मेरे प्राण तेरा ही नाम ले
करे मन तेरी ही उपासना
करे मन तेरी ही उपासना
गन-जान तेरा ही मैं करून
गन-जान तेरा ही मैं करून
मुझे यह लगन भगवान् दे
गन-जान तेरा ही मैं करून
मुझे यह लगन भगवान दे
मैं तो कब से तेरी शरण में हूँ
कोई सुख की भोर खिली तो क्या
कोई सुख की भोर खिली तो क्या
कोई दुःख की रेन मिले तो क्या
कोई सुख की भोर खिले तो क्या
कोई दुःख की रेन मिले तो क्या
पतझड़ में भी जो खिला रहे
मैं हु फूल बन के रहूँ सदा
पतझड़ में भी जो खिला रहे
मैं हु फूल बन के रहूँ सदा
मैं हु फूल बन के रहूँ सदा
जो लुटे न फ़ीकी पड़े कभी
जो लुटे न फ़ीकी पड़े कभी
जो लुटे न फ़ीकी पड़े कभी
मुझे हु मधुर मुस्कान दे
मैं तो कब से तेरी शरण में हूँ
मेरी ओअर तू भी तो ध्यान दे
मेरे मन में क्यूँ अंधकार है
मेरे ईश्वर मुझे ज्ञान दे
मैं तो कब से तेरी शरण में हूँ
मेरी ओअर तू भी तो ध्यान दे
मेरे मन में क्यूँ अंधकार है
कभी छाँव देखि न पुण्य की
जले पौन पाप की धुप में
जो भी रूप तेरी दया का है