Bhooli Bisree
वो अश्क़ बनके मेरी
चस्में तार में रहता हैं
वो अश्क़ बनके मेरी
चस्में तार में रहता हैं
अजीब शाकस हैं
पानी के घर में रहता हैं
भूली बिसरी यादों की
किरनो को सजाकर रोए हैं
वो चेहरा जब याद आया
हम सम्मा जलाकर रोए हैं
वो चेहरा जब याद आया
हम सम्मा जलाकर रोए हैं
हम सम्मा जलाकर रोए हैं
साथ तुम्हारा क्या च्छुटा था
दर्द से हर रिस्ता टूटा था
साथ तुम्हारा क्या च्छुटा था
दर्द से हर रिस्ता टूटा था
ये आँसू हैं खुशी के आँसू
तुमको पाकर रोए हैं
तुमको पाकर रोए हैं
भूली बिसरी यादों की
किरनो को सजाकर रोए है
अपनी ही मजबूरी थी
जो होत हुमारे खुल ना सके
अपनी ही मजबूरी थी
जो होत हुमारे खुल ना सके
जब भी माँगा खुदा से तुम्हें
बस हाथ उठा कर रोए हैं
बस हाथ उठा कर रोए हैं
भूली बिसरी यादों की
किरनो को सजाकर रोए हैं
याद हैं अब तक शामे जुदाई
वो पलके भीगी थी
याद हैं अब तक शामे जुदाई
वो पलके भीगी थी
राशिद आज उन्ही आँखों के
खाब सजाकर रोए हैं
खाब सजाकर रोए हैं
भूली बिसरी यादों की
किरनो को सजाकर रोए हैं
वो चेहरा जब याद आया
हम सम्मा जलाकर रोए हैं
हम सम्मा जलाकर रोए हैं
भूली बिसरी यादों की
किरनो को सजाकर रोए हैं.