Do Jism Ek Jaan

Shailendra Jadhav

काँच मे जज़्ब हो जैसे परछाइया
काँच मे जज़्ब हो जैसे परछाइया
हाँ ये दो जिस्म एक जान होने लगे, हाँ होने लगे
काँच मे जज़्ब हो जैसे परछाइया

रफ़्ता रफ़्ता ये अब होश खोने लगे
हो रफ़्ता रफ़्ता ये अब होश खोने लगे
इस तरह प्यार का बीज बोने लगे
रफ़्ता रफ़्ता ये मदहोश होने लगे
इस तरह दोनो नज़दीक आने लगे
इस तरह एक दूजे को भाने लगे
हाँ ये दो जिस्म एक जान होने लगे, हाँ होने लगे
काँच मे जज़्ब हो जैसे परछाइया

जिस्म का जोश अब जो बढ़ने लगा
हो जिस्म का जोश अब जो बढ़ने लगा
प्यार का रंग अब तो चढ़ने लगा
प्यार मे दोनो कसके डूबने लगे
प्यार का वो इरादा झलकने लगा
प्यार की सरहदे पार करने लगे
हाँ ये दो जिस्म एक जान होने लगे, हाँ होने लगे
काँच मे जज़्ब हो जैसे परछाइया

Wissenswertes über das Lied Do Jism Ek Jaan von Udit Narayan

Wer hat das Lied “Do Jism Ek Jaan” von Udit Narayan komponiert?
Das Lied “Do Jism Ek Jaan” von Udit Narayan wurde von Shailendra Jadhav komponiert.

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