Babul Pyare
ओ बाबूला प्यारे
ओ बाबूला प्यारे, ओ रोए पायला की छमछम
ओ सिसके सासो की सरागामा,
ओ निस दीन तुझे पुकारे मन हो
ओ बाबूला प्यारे
ओ रोए पायल की छमछम
ओ सिसके सासो की सरगम
ओ निस दिन तुझे पुकारे मन, हो
ओ बाबूला प्यारे
तेरी ही बाहो मे बचपना खिला, खिलती गयी ज़िदगानी
हो तेरी ही बाहो मे बचपना खिला, खिलती गयी ज़िदगानी
आंधी ऐसी फिरा चली, टूटी डाली से कली
बिना माली के उजड़ा चमाना, हो
ओ बाबूला प्यारे, ओ रोए पायल की छमछम
ओ सिसके सासो की सरगम
ओ निस दिन तुझे पुकारे मन, हो
कैसे अभागन बने ये सुहागान, कौना बैठाए डोली
ओ कैसे अभागन बने ये सुहागान, कौना बैठाए डोली
कैसे आएगी बारता, कैसे होंगे पीले हात
कैसे बेटी बनेगी दुल्हन, हो
ओ बाबूला प्यारे, ओ रोए पायल की छमछम
ओ सिसके सासो की सरगम
ओ निस दिन तुझे पुकारे मन, हो
ओ बाबूला प्यारे
जनक ने कैसे त्याग दिया है, अपनी ही जानकी को
हो ओ जनक ने कैसे त्याग दिया है, अपनी ही जानकी को
बेटी भटके राहो मे, माता डूबी आहो मे
बेटी भटके राहो मे, माता डूबी आहो मे
तरसे तेरे दरस को नयन, हो
ओ बाबूला प्यारे, ओ रोए पायल की छमछम
ओ सिसके सासो की सरगम
ओ निस दिन तुझे पुकारे मन, हो