Idhar Bhi Haseena Udhar Bhi

Gulshan Bawra, Ravi

इधर भी हसीना उधर भी हसीना
किसी ने दिल लुटा किसी ने दिल छिना
इधर भी हसीना उधर भी हसीना
किसी ने दिल लुटा किसी ने दिल छिना
इधर भी हसीना

नील पिले आस्मानी आचलो की हवा
बिन पिए ही बेखुदी है छा रहा है नशा
देखा जो इन्हे यरो तो आ गया पसीना
किसी ने दिल लुटा किसी ने दिल छिना
इधर भी हसीना उधर भी हसीना
किसी ने दिल लुटा किसी ने दिल छिना
इधर भी हसीना

जिसपे अपनी जुल्फ़ का ये दाल दे भंडार
इसके चक्कर से कभी न निकले वो बंदा
सभी है एक जैसी ये लिलि पिली टीना
किसी ने दिल लुटा किसी ने दिल छिना
इधर भी हसीना उधर भी हसीना
किसी ने दिल लुटा किसी ने दिल छिना
इधर भी हसीना

दिल को घर में रख के ना आना
इनकी महफ़िल में
वरना यारो उठने वाले आ बेस दिल में
हुआ है दिलवालो का मुस्किल जीना
किसी ने दिल लुटा किसी ने दिल छिना
इधर भी हसीना उधर भी हसीना
किसी ने दिल लुटा किसी ने दिल छिना
इधर भी हसीना

Wissenswertes über das Lied Idhar Bhi Haseena Udhar Bhi von Mohammed Rafi

Wer hat das Lied “Idhar Bhi Haseena Udhar Bhi” von Mohammed Rafi komponiert?
Das Lied “Idhar Bhi Haseena Udhar Bhi” von Mohammed Rafi wurde von Gulshan Bawra, Ravi komponiert.

Beliebteste Lieder von Mohammed Rafi

Andere Künstler von Religious