Jab Se Hua Re Tera Bal Roop Darshan

Traditional

जब से हुआ रे तेरा बाल रूप दर्शन
मैं अपनी सुध बुध गावै बैठा
त्रिभवन के नाथ सारा जग तेरे साथ
आ तू मेरे हाथो मैं आये बैठा
कंचन पे बड़ा उपकार किया
निजपत सेवा का अवसर मोहे दिया
मीठी सुघढ़ अनिभूतियो को
मेरी मानस पटल पे सजाये बैठा
तेरी ऐसी कृ
तब मैं धन्य हुआ जीवन सफल हुआ

Wissenswertes über das Lied Jab Se Hua Re Tera Bal Roop Darshan von Ravindra Jain

Wer hat das Lied “Jab Se Hua Re Tera Bal Roop Darshan” von Ravindra Jain komponiert?
Das Lied “Jab Se Hua Re Tera Bal Roop Darshan” von Ravindra Jain wurde von Traditional komponiert.

Beliebteste Lieder von Ravindra Jain

Andere Künstler von Religious