MANZILAIN GAR KHO BHI JAEN

Mehdi Hassan

मंज़िलें गर खो भी जाएँ रास्ता ज़िंदा रहे
मंज़िलें गर खो भी जाएँ रास्ता ज़िंदा रहे
मेरे तलवों में सफ़र का ज़ायक़ा ज़िंदा रहे
मंज़िलें गर खो भी जाएँ रास्ता ज़िंदा रहे

तेरी चाहत में हमारा हार जाना जीत कर
तेरी चाहत में हमारा हार जाना जीत कर
हम जहाँ में हूँ ना हूँ यह सानिहा ज़िंदा रहे
मंज़िलें गर खो भी जाएँ रास्ता ज़िंदा रहे

याद के तपते नगर में तेरा आँचल साथ हो
याद के तपते नगर में तेरा आँचल साथ हो
दिल की गलियों में हवा का सिलसिला ज़िंदा रहे
मंज़िलें गर खो भी जाएँ रास्ता ज़िंदा रहे

शहर ए दिल के अजनबी को नींद आए धूप में
शहर ए दिल के अजनबी को नींद आए धूप में
शब के दिल में रतजगों का वास्वासा ज़िंदा रहे
मंज़िलें गर खो भी जाएँ रास्ता ज़िंदा रहे
मेरे तलवों में सफ़र का ज़ायक़ा ज़िंदा रहे
मंज़िलें गर खो भी जाएँ रास्ता ज़िंदा रहे

Wissenswertes über das Lied MANZILAIN GAR KHO BHI JAEN von मेहदी हस्सान

Wer hat das Lied “MANZILAIN GAR KHO BHI JAEN” von मेहदी हस्सान komponiert?
Das Lied “MANZILAIN GAR KHO BHI JAEN” von मेहदी हस्सान wurde von Mehdi Hassan komponiert.

Beliebteste Lieder von मेहदी हस्सान

Andere Künstler von Film score